समग्र समाचार सेवा
दिल्ली, 9 सितम्बर। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में सोमवार को 54वीं जीएसटी काउंसिल की बैठक हुई, जो न केवल उद्योग जगत बल्कि आम जनता की भी निगाहों में थी। इस बैठक से कई बड़ी उम्मीदें जुड़ी हुई थीं, और जीएसटी काउंसिल ने कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं जो विभिन्न क्षेत्रों पर व्यापक प्रभाव डालेंगे। आइए इस बैठक में उठाए गए प्रमुख निर्णयों पर एक नज़र डालते हैं:
जीएसटी काउंसिल ने कैंसर के इलाज में उपयोग होने वाली दवाओं पर जीएसटी को 12 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया है। यह निर्णय कैंसर के इलाज के खर्च को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, जिससे मरीजों को राहत मिलेगी और चिकित्सा सेवाओं की लागत में कमी आएगी।
स्वास्थ्य और जीवन बीमा पॉलिसियों पर लगाए जाने वाले 18 प्रतिशत जीएसटी को कम करने पर सहमति बनी है। हालांकि, इसके सटीक प्रतिशत पर अंतिम निर्णय नवंबर में होने वाली जीएसटी काउंसिल की अगली बैठक में लिया जाएगा।
उपकर क्षतिपूर्ति (Cess Compensation) पर एक ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स (GoM) के गठन पर भी सहमति बनी है। यह कदम उपकर के मुद्दों पर एक समग्र दृष्टिकोण अपनाने के लिए उठाया गया है।
नमकीन पर जीएसटी को 18 प्रतिशत से घटाकर 12 प्रतिशत कर दिया गया है, जिससे इस खाद्य पदार्थ की लागत में कमी आएगी और उपभोक्ताओं को फायदा होगा।
अब तक जीएसटी काउंसिल की बैठकें सिर्फ दिल्ली में होती रही हैं। लेकिन, 55वीं बैठक भी दिल्ली में होगी और 56वीं बैठक से इसे अन्य राज्यों में भी आयोजित करने की योजना है, जो प्रदेशों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है।
विदेशी एयरलाइन कंपनियों द्वारा सर्विसेज के इंपोर्ट पर छूट देने का फैसला किया गया है, जो अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को आसान बनाएगा।
कार की सीटों पर जीएसटी को 18 प्रतिशत से बढ़ाकर 28 प्रतिशत कर दिया गया है, जिससे इन वस्तुओं की लागत में वृद्धि होगी।
हेलीकॉप्टर से तीर्थ यात्रा पर जीएसटी को 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया गया है, जो धार्मिक यात्रियों के लिए एक राहत भरी खबर है।
ऑनलाइन गेमिंग से प्राप्त राजस्व में 412 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और सरकार इस पर 28 प्रतिशत जीएसटी वसूलती है। यह क्षेत्र तेजी से बढ़ रहा है और राजस्व में महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है।
कसीनो से प्राप्त राजस्व में 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है, हालांकि कसीनो पर जीएसटी में कोई बदलाव नहीं किया गया है।
जीएसटी काउंसिल की यह बैठक विभिन्न क्षेत्रों के लिए महत्वपूर्ण परिवर्तनों की शुरुआत है। इन निर्णयों से न केवल उद्योग जगत को फायदा होगा बल्कि आम जनता को भी राहत मिलेगी। सरकार की यह पहल निश्चित रूप से भारत के आर्थिक परिदृश्य को बदलने में सहायक सिद्ध होगी।