रेणुका सिंह बनेंगी छत्तीसगढ़ की मुख्यमंत्री? भाजपा की फायरब्रांड नेता को लेकर अटकलें तेज

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समग्र समाचार सेवा
सूरजपुर, 6दिसंबर। छत्तीसगढ़ में भाजपा का परचम लहराया है। अब प्रदेश को नए मुख्यमंत्री का इंतजार है। इस बाबत केंद्रीय राज्यमंत्री एवं भरतपुर सोनहत से नवनिर्वाचित भाजपा विधायक रेणुका सिंह को छत्तीसगढ़ का मुख्यमंत्री बनाए जाने की अटकलें तेज हो गई हैं। इन अटकलों को तब और बल मिला जब जिले के कलेक्टर व एसपी ने मंगलवार को पूरी टीम के साथ रामानुजनगर पहुंचकर उनके निवास स्थान के आसपास के क्षेत्र का निरीक्षण किया।

भाजपा की फायर ब्रांड नेता हैं रेणुका
अधिकारियों ने सुरक्षा-व्यवस्था को लेकर पुलिस को आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए। उधर, भाजपा कार्यकर्ताओं एवं उनके समर्थकों ने मुख्यमंत्री बनने के लिए पूजा-अर्चना शुरू कर दी। बता दे कि केंद्रीय राज्यमंत्री रेणुका सिंह आदिवासी चेहरे के रूप में भाजपा की फायर ब्रांड नेता हैं।

रेणुका सिंह फिलहाल छत्तीसगढ़ से इकलौती केंद्रीय राज्य मंत्री हैं. उनके राजनीतिक सफ़र की शुरुआत जनपद पंचायत चुनाव से हुई. 1999 में वो पहली बार जनपद पंचायत की सदस्य चुन कर राजनीति में आईं. उसके बाद सन् 2000 मे बीजेपी ने उनको रामानुजनगर मंडल का अध्यक्ष बना दिया और साल 2002 मे समाज कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष रहने के साथ ही रेणुका सिंह 2003 में पहली बार सरगुजा संभाग की रामानुजनगर विधानसभा से विधायक चुनी गईं.

साल 2019 में बनीं सरगुजा सांसद
रेणुका सिंह दूसरी बार साल 2008 में फिर विधायक बनीं. विधायक काल में रेणुका स्वतंत्र प्रभार वाली महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री मंत्री रहीं और सरगुजा विकास प्राधिकरण की उपाध्यक्ष भी रहीं. रेणुका साल 2019 मे सरगुजा संसदीय क्षेत्र से सांसद बनीं और फिलहाल मोदी सरकार में जनजातीय मामलों की केंद्रीय राज्य मंत्री हैं.

दो बार विधायक एक बार की सांसद हैं रेणुका सिंह
रेणुका सिंह का जन्म 5 जनवरी 1964 को छत्तीसगढ़ के कोरिया जिले के पोडी बच्चा गांव में हुआ था. स्वर्गीय फूल सिंह की बेटी रेणुका सिंह का विवाह रामानुजनगर इलाके के रहने वाले नरेंद्र सिंह से हुआ. रेणुका के दो बेटे और दो बेटियां हैं. बेटियों का नाम पूर्णिमा सिंह और मोनिका सिंह है और बेटे यशवंत सिंह और बलवंत सिंह हैं. स्नातक तक शिक्षा प्राप्त रेणुका सिंह तेज तर्रार छवि वाली नेता मानी जाती हैं. रेणुका सिंह 2 बार विधायक एक बार सांसद रहते हुए एक बार छत्तीसगढ़ में स्वतंत्र प्रभार वाली राज्य मंत्री और सांसद बनते ही पहली बार में केन्द्रीय राज्य मंत्री बन गई है.

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