CFO पर ₹12,524 करोड़ के लोन घोटाले का आरोप, कोर्ट ने दो दिन की कस्टडी दी; ED और CBI कर रही हैं विस्तार से जांच
प्रवर्तन निदेशालय ने देर रात किया गिरफ्तार, कोर्ट में दो दिन की कस्टडी मिली; रिलायंस ग्रुप की कंपनियों में 12,524 करोड़ के लोन घोटाले की जांच
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अशोक कुमार पाल पर रिलायंस होम और कॉमर्शियल फाइनेंस के ₹12,524 करोड़ लोन घोटाले का आरोप
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ED ने फर्जी दस्तावेजों और बैंक गारंटी का आरोप लगाते हुए गिरफ्तारी की
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CBI ने यस बैंक फ्रॉड केस में अनिल अंबानी और अन्य के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की
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पाल 13 अक्टूबर को दोबारा कोर्ट में पेश होंगे
समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 11 अक्टूबर: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने रिलायंस पावर लिमिटेड के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर और चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर (CFO) अशोक कुमार पाल को गिरफ्तार कर लिया है। अधिकारियों के मुताबिक पाल पर आरोप है कि उन्होंने अनिल अंबानी की रिलायंस ग्रुप कंपनियों के लिए फर्जी बैंक गारंटी और नकली इनवॉइस तैयार कर ₹12,524 करोड़ के लोन ट्रांसफर किए।
ED ने शुक्रवार देर रात पूछताछ के बाद पाल को अरेस्ट किया। शनिवार को उन्हें दिल्ली की स्पेशल कोर्ट में पेश किया गया, जहां कोर्ट ने ED को दो दिन की कस्टडी दी। पाल को सोमवार, 13 अक्टूबर को फिर कोर्ट में पेश किया जाएगा।
जांच में सामने आया है कि पाल ने रिलायंस होम फाइनेंस और रिलायंस कॉमर्शियल फाइनेंस के माध्यम से लोन कंपनियों को बांटे, जिनमें ज्यादातर अनिल अंबानी के ग्रुप की फाइनेंशियली कमजोर कंपनियां शामिल थीं। ED का कहना है कि यह योजना बहुत ही सुनियोजित तरीके से बनाई गई थी, जिसमें फर्जी दस्तावेजों और गारंटी का इस्तेमाल किया गया।
इससे पहले अगस्त में ED ने अनिल अंबानी से भी पूछताछ की थी। मुंबई में ED ने 35 जगहों पर छापेमारी की थी, जिसमें 50 कंपनियां और करीब 25 लोग शामिल थे।
CBI ने यस बैंक फ्रॉड केस में 18 सितंबर को अनिल अंबानी और अन्य के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी। चार्जशीट के मुताबिक, यस बैंक के पूर्व CEO राणा कपूर और अंबानी की कंपनियों के बीच कथित फर्जी लेन-देन से बैंक को 2,796 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ। आरोप है कि राणा कपूर ने अपनी पोजिशन का दुरुपयोग कर बैंक फंड्स को कमजोर कंपनियों में लगाया और बदले में अंबानी की कंपनियों ने कपूर फैमिली की कंपनियों को कम ब्याज पर लोन दिए।
यह मामला 2022 में यस बैंक के चीफ विजिलेंस ऑफिसर की शिकायत पर शुरू हुआ था। चार्जशीट में अनिल अंबानी के अलावा राणा कपूर, बिंदु कपूर, राधा कपूर, रोशनी कपूर और 10 कंपनियों के खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट और IPC की धाराओं के तहत कार्रवाई की गई है ।