30 घंटे का दौरा, 130 लोगों की टीम: भारत में पुतिन की सिक्योरिटी कैसी होगी?
पुतिन का यह दौरा भारत-रूस के 23वें वार्षिक समिट के लिए है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के न्योते पर वे 4 दिसंबर को दिल्ली पहुंचेंगे.
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पुतिन 4-5 दिसंबर को भारत-रूस के 23वें वार्षिक समिट में शामिल होंगे
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रूसी सिक्योरिटी टीम के 50+ सदस्य पहले से दिल्ली में मौजूद
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दिल्ली में एंटी-ड्रोन गन्स, SWAT, ATS और NSG की तैनाती
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हाल के दिल्ली ब्लास्ट के बाद सुरक्षा प्रोटोकॉल और सख्त किए गए
समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 3 दिसंबर: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन 4 दिसंबर को भारत-रूस के 23वें वार्षिक समिट में शामिल होने के लिए दिल्ली पहुंचने वाले हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निमंत्रण पर होने वाले इस दौरे को दोनों देशों की रणनीतिक साझेदारी के लिहाज से बेहद अहम माना जा रहा है। यह पुतिन का यूक्रेन युद्ध के बाद पहला भारत दौरा है, जिससे वैश्विक स्तर पर भी संदेश जाएगा।
क्या है पुतिन का शेड्यूल?
पुतिन 4 दिसंबर की शाम दिल्ली पहुंचेंगे, जहां उनका प्रधानमंत्री मोदी के साथ प्राइवेट डिनर और द्विपक्षीय वार्ता का कार्यक्रम है। अगले दिन यानी 5 दिसंबर को उनकी बिज़नेस मीटिंग्स, उच्चस्तरीय वार्ता और राजकीय भोज (स्टेट बैनक्वेट) से जुड़े कार्यक्रम तय हैं।
एजेंडा में रक्षा, ऊर्जा, स्पेस और ट्रेड मुख्य स्तंभ होंगे। रूस भारत को Su-57 फाइटर जेट्स, S-400 की नई डील और तेल निर्यात बढ़ाने का प्रस्ताव देगा।
दिल्ली बनी हाई सिक्योरिटी ज़ोन
पुतिन की सुरक्षा दुनिया की सबसे सख्त सुरक्षा व्यवस्थाओं में मानी जाती है। इसी वजह से दिल्ली को करीब-करीब किले में बदल दिया गया है।
रूसी एडवांस टीम के 50 से ज़्यादा कमांडो पहले ही दिल्ली में मौजूद हैं। वे पुतिन के रूट्स, होटलों और मीटिंग वेन्यू की जांच कर चुके हैं।
भारतीय सुरक्षा एजेंसियां:
- दिल्ली पुलिस
- केंद्रीय सुरक्षा बल
- पैरामिलिट्री यूनिट्स
- NSG कमांडो
- SWAT और ATS टीमें
- क्विक रिएक्शन फोर्स
इन सभी को रणनीतिक स्थानों पर तैनात किया गया है, ताकि किसी भी आपात स्थिति से तुरंत निपटा जा सके।
रूसी सिक्योरिटी: कोई समझौता नहीं
पुतिन की पर्सनल सिक्योरिटी में शामिल रूसी कमांडोज अपने आंतरिक सुरक्षा घेरे में रहेंगे।
- पुतिन का खाना रूस से ही आएगा और कई स्तर की जांच के बाद परोसा जाएगा।
- उनकी बुलेटप्रूफ कार और पोर्टेबल सुरक्षा किट भी साथ लाई जा रही है।
- उनका ठहराव किस होटल में होगा, यह सुरक्षा कारणों से गुप्त रखा गया है।
टेक्नोलॉजी आधारित निगरानी
दिल्ली में एक 24×7 हाई-टेक कंट्रोल रूम बनाया गया है, जहां से सभी एजेंसियां रीयल-टाइम मॉनिटरिंग कर रही हैं।
- ड्रोन सर्विलांस
- एंटी-ड्रोन गन्स
- हाई-रिज़ॉल्यूशन CCTV
- फेस रिकग्निशन सिस्टम
- सिग्नल मॉनिटरिंग
रूसी डेलिगेशन की सुरक्षा के लिए हवा, जमीन और डिजिटल—तीनों स्तरों पर निगरानी रखी जा रही है।
हाल के दिल्ली ब्लास्ट के बाद अतिरिक्त सतर्कता
नवंबर 2025 में दिल्ली में हुए ब्लास्ट के बाद सुरक्षा एजेंसियां पहले ही हाई अलर्ट पर थीं। पुतिन के दौरे को देखते हुए यह अलर्ट और ज्यादा मजबूत कर दिया गया है। खुफिया एजेंसियां सभी संभावित खतरों पर निगरानी रख रही हैं।
भारत-रूस संबंधों को नई गति?
यह दौरा रक्षा सहयोग, ऊर्जा साझेदारी और व्यापारिक संबंधों को नई दिशा दे सकता है। भारत और रूस की मजबूत दोस्ती का यह अगला बड़ा पड़ाव माना जा रहा है। पुतिन के भारत आने पर दुनिया की नजरें टिकी हैं कि क्या कोई बड़ा समझौता या घोषणा सामने आएगी।