बिहार विधानसभा के नए अध्यक्ष होंगे प्रेम कुमार
1 दिसंबर से शुरू होगा सत्र, भाजपा विधायक प्रेम कुमार को मिली बड़ी जिम्मेदारी
- भाजपा विधायक प्रेम कुमार को बिहार विधानसभा अध्यक्ष बनाए जाने की पूरी तैयारी
- 1 दिसंबर से नया सत्र शुरू होगा, अध्यक्ष के रूप में प्रेम कुमार की नियुक्ति तय
- नौ बार विधायक चुने गए प्रेम कुमार को संगठन में अनुशासन और अनुभव के लिए जाना जाता है
समग्र समाचार सेवा
पटना, 27 नवंबर: बिहार की राजनीति में एक बार फिर बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है। भाजपा के वरिष्ठ नेता और नौ बार के विधायक डॉ. प्रेम कुमार को बिहार विधानसभा का नया अध्यक्ष बनाए जाने की प्रक्रिया लगभग अंतिम चरण में पहुंच चुकी है। यह निर्णय आगामी 1 दिसंबर से शुरू होने वाले विधानसभा सत्र से पहले लिया गया है, जिससे सत्र की कार्यवाही के संचालन में स्थिरता और दिशा सुनिश्चित हो सके।
राजनीतिक हलकों में यह कदम भाजपा की रणनीति के रूप में देखा जा रहा है, जहां संगठन अनुभवी और स्वीकार्य चेहरों को महत्वपूर्ण जिम्मेदारियाँ सौंप रहा है। गया जिले की गया टाउन सीट से लगातार नौ बार चुनाव जीतकर रिकॉर्ड बनाने वाले प्रेम कुमार बिहार की राजनीति में एक सम्मानित नाम माने जाते हैं। उनकी शांत शैली, अनुशासन और प्रशासनिक समझ के कारण वे विधानमंडल के संचालन के लिए उपयुक्त माने जाते हैं।
भाजपा की ओर से प्रेम कुमार के नाम पर सहमति बनाए जाने के बाद राज्य की राजनीतिक गतिविधियों में रफ्तार बढ़ गई है। एनडीए सहयोगी दलों से भी सकारात्मक संकेत मिल रहे हैं, जिससे उनकी नियुक्ति लगभग तय मानी जा रही है।
सूत्रों के अनुसार, विधानमंडल सचिवालय उनकी नियुक्ति की औपचारिकता पूरी करने में जुट गया है।
अनुभव और राजनीतिक यात्रा
प्रेम कुमार की राजनीति में यात्रा बेहद रोचक रही है। गया जिले के इस अनुभवी नेता ने 1990 के दशक में सक्रिय राजनीति की शुरुआत की और धीरे-धीरे संगठन में अपना मजबूत स्थान बनाया। वे राज्य सरकार में मंत्री, संसदीय कार्य मंत्री, और कृषि जैसे महत्वपूर्ण विभागों का प्रबंधन भी संभाल चुके हैं।
उनकी छवि एक सरल, मिलनसार और अनुशासित नेता की है—जिसे विधानसभा अध्यक्ष जैसी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी के लिए आवश्यक गुण माना जाता है।
विधानसभा सत्र से पहले यह नियुक्ति क्यों महत्वपूर्ण?
आगामी सत्र राज्य राजनीति के लिए काफी अहम माना जा रहा है, क्योंकि इसमें कई बड़े विधेयक और बजट से जुड़े मसले शामिल हैं। ऐसे में विधानसभा को अनुभवी नेतृत्व की आवश्यकता है।
राजनीतिक विशेषज्ञों के अनुसार, प्रेम कुमार का अध्यक्ष बनना सत्ता और विपक्ष दोनों के लिए संतुलित और सकारात्मक माहौल तैयार कर सकता है।
एनडीए नेताओं ने भरोसा जताया है कि उनके नेतृत्व में सदन सुचारु रूप से चलेगा और राजनीतिक टकराव की स्थिति को कुशलता से संभाला जा सकेगा।
अध्यक्ष पद पर उनकी नियुक्ति के बाद, बिहार विधानसभा के संचालन में एक नया अध्याय शुरू होगा, जिसकी दिशा आगामी सत्र से तय होगी।