अल्मोड़ा के स्कूल परिसर की झाड़ियों से 161 जिलेटिन स्टिक बरामद, इलाके में सनसनी

दो जिलों की बीडीएस टीम और डॉग स्क्वॉड की मदद से तलाशी, अज्ञात के खिलाफ केस दर्ज

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समग्र समाचार सेवा
अल्मोड़ा, 22 नवंबर:उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के सल्ट विधानसभा क्षेत्र में शुक्रवार को उस समय हड़कंप मच गया जब राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय डभरा के परिसर में झाड़ियों के बीच बड़ी मात्रा में विस्फोटक सामग्री मिलने की जानकारी सामने आई। पुलिस ने मौके से 161 जिलेटिन की बेलनाकार छड़ें बरामद की हैं, जिन्हें कोई अज्ञात व्यक्ति झाड़ियों में छिपाकर छोड़ गया था।

घटना का पता तब चला जब विद्यालय के प्रभारी प्रधानाचार्य सुभाष सिंह ने परिसर की झाड़ियों में संदिग्ध पैकेट पड़े देखे। उन्होंने तुरंत पुलिस को इसकी सूचना दी। जानकारी मिलते ही अपर उपनिरीक्षक दीवान सिंह बिष्ट और लोमेश कुमार टीम सहित स्कूल पहुंचे और पूरे इलाके को घेराबंदी कर सुरक्षित किया।

दो जिलों की टीमों ने की संयुक्त तलाशी

विस्फोटक मिलने की सूचना के बाद मामला गंभीर देखते हुए ऊधमसिंह नगर और नैनीताल जिलों की बम निरोधक (BDS) टीम और डॉग स्क्वॉड को भी तलाशी अभियान में शामिल किया गया। डॉग ‘मौली’ और ‘रैम्बो’ की मदद से स्कूल परिसर और उसके आसपास गहन तलाशी ली गई।

तलाशी के दौरान पहले झाड़ियों से कुछ पैकेट मिले, उसके बाद लगभग 15-20 फीट आगे दूसरी जगह से और पैकेट बरामद हुए। सभी पैकेटों में जिलेटिन स्टिक भरी हुई थीं।

पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की

बम निरोधक दस्ते ने सभी जिलेटिन स्टिक को इकट्ठा कर सुरक्षित स्थान पर सील करके रख दिया है। पुलिस ने इस मामले में Explosive Substances Act 1908 की धारा 4(A) और बीएनएस की धारा 288 के तहत अज्ञात आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

अल्मोड़ा के एसएसपी देवेंद्र पींचा ने बताया कि प्रारंभिक जांच में कई पहलुओं की जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि मामला अत्यंत संवेदनशील है और सार्वजनिक सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए कड़ी कार्रवाई की जाएगी। जल्द ही इस मामले का खुलासा करने का दावा किया गया है।

जिलेटिन स्टिक क्या होती है और कहां इस्तेमाल होती है?

जिलेटिन स्टिक एक शक्तिशाली विस्फोटक सामग्री है, जिसका उपयोग आमतौर पर—

  • खनन,
  • सड़क निर्माण,
  • सुरंग बनाने,
  • पत्थर तोड़ने जैसे भारी कार्यों में नियंत्रित विस्फोट के लिए किया जाता है।

इनमें नाइट्रोग्लिसरीन और अन्य रसायन होते हैं, जो इन्हें अत्यधिक खतरनाक बनाते हैं। इन्हें डेटोनेटर और फ्यूज के साथ जोड़कर विस्फोट कराया जाता है। गलत तरीके से संभालने पर बड़ा हादसा हो सकता है।

क्या जिलेटिन रखना कानूनी है?

भारत में जिलेटिन स्टिक को रखने या ढोने के लिए लाइसेंस और अनुमिति अनिवार्य है। बिना अनुमति जिलेटिन रखना पूरी तरह गैरकानूनी है और Explosives Act के तहत सख्त दंड का प्रावधान है।

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