गुस्ताखी माफ़ हरियाणा।

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गुस्ताखी माफ़ हरियाणा
पवन कुमार बंसल 

मेडिकल कॉलेज रोहतक ( पीजीआईएमएस) के निदेशक डॉक्टर जेपी सिंह ने शहद चोरी की.?
किस्सा करीब तीन दशक पुराना है। भजन लाल चीफ मिनिस्टर थे और रेशम सिंह सीएम फ्लाइंग स्क्वायड के एसपी थे। पूर्व गृह मंत्री चरण सिंह के दामाद,
अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉक्टर जेपी सिंह की नियुक्ति देवीलाल ने मुख्यमंत्री रहते की थी और बाद में भजन लाल चीफ मिनिस्टर बन गए।
जे पी सिंह ने निदेशक रहते मेडिकल कॉलेज में जबरदस्त सुधार किये थे। मुख्यमंत्री, भजन लाल को जे पी सिंह के खिलाफ शिकायत की गयी जिसमे अन्य आरोपो के अलावा एक आरोप यह भी था की उन्होंने कॉलेज परिसर में लगे शहद के छत्ते से शहद तुड़वा लिया। शिकायत भी बेनामी थी। रेशम सिंह ने जांच की और शिकायत को झूठी और बेबुनियाद पाया।रेशम सिंह ने ‘गुस्ताखी माफ़ हरियाणा ‘को बताया की उन्होंने , भजन लाल को बता दिया कि शिकायत में कोई तथ्य नहीं है। वैसे बेनामी शिकायत की परम्परा चलती रहती है। ओमप्रकाश चौटाला के चीफ मिनिस्टर रहते मेडिकल कॉलेज के पूर्व निदेशक डॉक्टर बी सी रॉय अवार्ड से सम्मानित डॉक्टर सिवाच के खिलाफ विजिलेंस को बेनामी शिकायत की गयी जो जांच पर झूठी और बेबुनियाद पाई गई वह फाइल कर दी गयी। फिर भूपिंदर हूडा चीफ मिनिस्टर बने तो वही पुरानी शिकायत फिर कर दी गयी और फिर जांच के बाद फाइल की गयी।
फिर भी उन्हें डिसमिस कर दिया गया।
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इसके बावजूद भी जेपी सिंह को नौकरी से डिसमिस कर दिया। असल में हुआ यह की उन्होंने रोहतक में नवभारत टाइम्स के पत्रकार नरेंद्र विद्यालंकार को दिए एक इंटरव्यू में कह दिया कि उनके खिलाफ जांच का आदेश देने वाला चीफ मिनिस्टर खुद करप्ट है। इसे सर्विस रूल्स का उल्लंघन माना गया और एक्शन ले लिया गया। भजन लाल अपने गैर जाट वोट बैंक को खुश करने के लिए ऐसी बचकानी हरकते करते रहते थे।एक बार हिसार स्थित चौधरी चरण सिंह कृषि यूनिवर्सिटी का नाम बदलने का मुहीम शुरू किया लेकिन जबरदस्त आलोचना के चलते सिरे नहीं चढ़ा।
जब भजन लाल ने रोहतक के वकीलों से कहा, जे थारी भैंस दूध देने से इंकार कर दे तो तुम मुझ पर आरोप लगाकर हड़ताल कर दोगे।
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सरकार के डॉक्टर जेपी सिंह को डिसमिस करने के फैसले के खिलाफ रोहतक के वकीलों ने हड़ताल कर दी। कुछ समय बाद रोहतक बार ने उन्हें आमंत्रित किया। भजन लाल मौका कहा चूकने वाले थे।मौके का फायदा उठाते हुए बोले भाई तुम तो थोड़ी – थोड़ी बात पे हड़ताल कर देते हो। जे थारी भैंस दूध देने से इंकार कर दे तो भी आप मुझ पर आरोप लगा हड़ताल कर दोंगे। असल में भजन लाल डॉक्टर जेपी सिंह प्रकरण पर वकीलों की हड़ताल से परेशान थे।
ज्ञापन वापिस दे दो ग़लती हो गयी गयी – रोहतक के वकील भजन लाल से। कोई बात नहीं।
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रोहतक के वकील बड़े मुंहफट और हाजिर जवाब है। एक बार तत्कालीन चीफ मिनिस्टर भजन लाल को हिसार में अपनी माँगो बारे ज्ञापन दिया। एक वकील ने शरारत करते हुए कहा कि ज्ञापन वापिस दे दो क्योंकि गल्ती से अंग्रेजी में टाइप करवा लिया है। भजन लाल हाजिर जवाब भी थे और बर्फ की तरह ठन्डे भी।
बिना गुस्सा खाये बोले ,भाई कोई बात नहीं ,मेरे पास बहुत पढ़े लिखे अफसर है ,में उनसे पड़वा लूँगा। अब कल्पना करो की यदि वकीलों ने यही बात बंसीलाल या ओमप्रकाश चौटाला को कही होती तो क्या होता ,शायद राम भी नहीं जानता।

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