गुस्ताखी माफ़ हरियाणा।

कृपया इस पोस्ट को साझा करें!

गुस्ताखी माफ़ हरियाणा।
पवन कुमार बंसल।
जब छोटू राम भक्त प्रो० हरिसिंह खेड़ी जट( झज्जर ) तत्कालीन सी एम बंसीलाल पर चिल्लाये -अवसर रोहतक में छोटू राम जयंती समारोह।
किसान और दबे -कुचले के मसीहा छोटू राम को नमन।
छोटू राम जयंती के अवसर पर पच्चीस वर्ष पहले का किस्सा याद आया। छोटू राम पार्क रोहतक में बसंत पंचमी के अवसर पर छोटू राम जयंती समारोह में तत्कालीन चीफ मिनिस्टर बंसीलाल चीफ गेस्ट थे। वे मंच पर जाने से पहले छोटू राम की प्रतिमा पर मल्यार्पण करने जा रहे थे की इसी बीच हरिसिंह जट उन पर बहुत जोर से चिल्लाया। इससे पहले वहा मौजूद कमांडो उसे दबोचते,बंसीलाल ने उन्हें रोक दिया। असल में बंसी लाल ने जूते नहीं उत्तारे थे और इसी वजह से खेड़ी जट खफा हो गए थे। बंसीलाल ने जूते उतार और हाथ धोकर माल्यार्पण किया।
आज छोटू राम के साथ उन्हें भी नमन। रोहतक में जनसत्ता में नियुक्ति के दौरान मेरा उनसे खास लगाव था। उनके संपादक के नाम पत्र अंग्रेजी ट्रिब्यून में छपते थे। लम्बे समय तक छोटूराम के साथ साये की तरह रहे।
हरियाणा के लालो के सबरंग किताब पर उनकी गजब टिप्पणी थी।

‘क्या किताब लिखी है? क्या पोल खोली है?काश की ठेठ हरियाणवी में लिखी जाती। फेर हिंदी ,उर्दू ,पंजाबी आदि सभी भाषाओं और बोलियों में इसका अनुवाद होता। मनोरंजन का मनोरंजन ,मंथन का मंथन। चुटकी भी ली और तंग तले भी मारी। सच्चाई भी पिटाई भी ,सफाई भी हंसाई भी ,झांकी भी और बेबाकी भी।
दल भी ,दल बदल भी ,जाल भी ,जंजाल भी। सत्ता भी ,लत्ता भी ,पनघट भी ,घनघट भी। राजनीती ,कुनीति ,बदनीति,बेइज्जती ,अदावत ,मिलावट ,सजावट ,बनावट।पाठक पढ़ के हास्यां ,सत्ता का तमाशा ,देख के नाच्या ;साच्या ,चाव ते बाच्या ,बधाई ,पवन की लिखाई,कलम की सफाई ,खूब दिखाई। न्यू करी फर्ज की निभायी। ”
उनका हस्तलिखित पत्र आज भी मेरे पास सुरक्षित है। इस वर्ष किताब की रजत जयंती है। कोशिश करेंगे की इसके द्वितीय संस्करण का अनुवाद सभी भाषाओं में हो।

कृपया इस पोस्ट को साझा करें!
Leave A Reply

Your email address will not be published.