वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण ने 11वें यूके-भारत आर्थिक और वित्तीय संवाद में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का किया नेतृत्व
समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 3 सितंबर। 11वें भारत-यूनाइटेड किंगडम आर्थिक और वित्तीय संवाद (ईएफडी) आज आयोजित किया गया,जिसकी अध्यक्षता वर्चुअल रूप में भारतकी केंद्रीय वित्त और कॉर्पोरेट कार्य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण और यूनाइटेड किंगडम के ट्रेजरी चांसलर श्री ऋषि सुनक ने की।
भारतीय प्रतिनिधिमंडल में आरबीआई के गवर्नर, सेबी के अध्यक्ष, आईएफसीए के अध्यक्ष, आर्थिक कार्य सचिव तथा वित्त मंत्रालय, विदेश मंत्रालय और भारतीय उच्चायोग, यूके के प्रतिनिधि शामिल थे।
यूके प्रतिनिधिमंडल में बैंक ऑफ इंग्लैंडके गवर्नर, सीईओ वित्तीय आचरण प्राधिकरण, आर्थिक सचिव और यूके एचएमटी के अन्य प्रतिनिधि शामिल थे।
संवाद में, अन्य बातों के साथ-साथ, जी 20 और कॉप 26 समेत बहुपक्षीय मुद्दों के सन्दर्भ में आर्थिक सहयोग परचर्चा हुई। दोनों पक्षों ने फिन-टेक और गिफ्ट सिटी पर विशेष जोर देने के साथ, वित्तीय सेवा सहयोग को आगे बढ़ाने तथा सालाना भारत-यूके वित्तीय बाजार संवादएवं वित्तीय बाजारों में सुधार के लिए जारी उपायों पर विचार-विमर्श किया। बुनियादी ढांचे के विकास, स्थायी वित्त तथा जलवायु वित्त को बढ़ावा देने पर भी चर्चा हुई।
भारत-यूके वित्तीय भागीदारी (आईयूकेएफपी) के तहत निजी क्षेत्र की पहल और भारत-यूके स्थायी वित्त कार्यकारी समूह तथा इसकी प्रगति पर भी चर्चा की गई। जलवायु वित्त नेतृत्व पहल (सीएफएलआई) भारत साझेदारी को आज दोनों पक्षों द्वारा लॉन्च किया गया, जिसका उद्देश्य भारत में पूंजी जुटाने के प्रयासों में तेजी लाने के लिए वित्तीय संस्थानों, कॉरपोरेट और मौजूदा स्थायी वित्त पहल के साथ काम करना है। दोनों पक्ष बहुपक्षीय और निजी साधनों के माध्यम से वित्त जुटाने और यूके के आगामी सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड जारी करने समेत प्रासंगिक अनुभव साझा करने के लिए मिलकर काम करने पर सहमत हुए।
11वें आर्थिक और वित्तीय संवाद का समापन; केंद्रीय वित्त मंत्री और यूनाइटेड किंगडम के ट्रेज़री चांसलर द्वारा संयुक्त वक्तव्य को अपनाने और जलवायु वित्त नेतृत्व पहल (सीएफएलआई) भारत साझेदारी पर संयुक्त वक्तव्य जारी करने के साथ हुआ।