समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली , 2 सितम्बर। इस साल अजा एकादशी का व्रत 3 सितंबर को रखा जाएगा. भाद्रपद मास की कृष्ण पक्ष की एकादशी को अजा एकादशी के नाम से जाना जाता है. अजा एकादशी पर भगवान विष्णु (Vishnu Bhagwan) की पूजा अर्चना करने से देवी लक्ष्मी का आशीर्वाद भी प्राप्त हो सकता है. अजा एकादशी का व्रत करने वाले से खुश होकर विष्णु उनके सारे दुखों को हर लेते हैं. इस व्रत को पूरे विधि-विधान से करना चाहिए
अजा एकादशी पूजन सामग्री लिस्ट
-भगवान विष्णु जी की मूर्ति या प्रतिमा
– पुष्प
-नारियल
-सुपारी
-फल
-लौंग
-धूप
-दीप
-घी
-अक्षत
-पंचामृत
-भोग
-तुलसी
-चंदन
अजा एकादशी पारण मुहूर्त
शनिवार, 4 सितंबर को सुबह 05 बजकर 30 मिनट से सुबह 08 बजकर 23 मिनट तक रहेगा.
पारण अवधि-2 घंटे.
अजा एकादशी व्रत विधि
– जिस प्रकार अन्य एकादशी के व्रत का संकल्प लेने का विधान है ठीक उसी प्रकार अजा एकादशी के व्रत का संकल्प लेना होता है.
– सबसे पहले दैनिक कार्यों से निवृत्त होकर और स्नान आदि के बाद स्वच्छ वस्त्र धारण करना चाहिए और सच्चे मन से व्रत का संकल्प लेना चाहिए.
– भगवान विष्णु जी की प्रतिमा के सामने धूप, दीप, नेवैद्य, फूल और फल अर्पित करने चाहिए.
– यदि संभव हो तो एक समय फलाहार करना चाहिए.
– विष्णु जी की पूजा में तुलसी का प्रयोग जरूर करें. ऐसा कहा जाता है कि तुलसी का प्रयोग करने से भगवान नारायण अति प्रसन्न होते हैं.
– जो भी जातक इस एकादशी के दिन भगवान विष्णु की सच्चे मन से पूजा करता है और व्रत रखता है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और हर क्षेत्र में सफलता प्राप्त होती है.